शरद पूर्णिमा की रात्रि: केकड़ी के मंदिरों में भक्तों को मिलेगा अमृतमयी खीर का प्रसाद
केकड़ी 16 अक्टूबर 2024- शरद पूर्णिमा के अवसर पर मन्दिरों में खीर का प्रसाद भक्तो में वितरण किया जायेगा। शरद ऋतु के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि क़ो शरद पूर्णिमा का पर्व मनाया जाता है । इस पूर्णिमा का विशेष महत्व है और शरद पूर्णिमा को सभी पूर्णिमाओ मे श्रेष्ठ माना जाता है । ये माना जाता है कि इस रात को चन्द्रमा की किरणों में विशेष औषधीय गुण होते हैं । इसी कारण से शरद पूर्णिमा के दिन आसमान के नीचे चांद की रौशनी में खीर रखने का भी विधान हैं। इस दिन रात भर खुले आसमान के नीचे खीर रखी जाती है , मान्यता है कि शरद पूर्णिमा की रात चंद्रमा की किरणों से अमृत बरसता है। ऐसे में जब चांद की रौशनी खीर पर पड़ती है तो वह खीर भी अमृत गुणों वाली हो जाती हैं। ऐसे में शरद पूर्णिमा की खीर को खाने से मन को शीतलता पहुंचती है और सेहत पर भी अच्छा प्रभाव पड़ता है।
केकड़ी क्षेत्र के विभिन्न मन्दिरों में सांय से ही भजन , कीर्तन होंगे व खीर बनाकर खुले आसमान में चन्द्रमा की किरणों मे रखा जायेगा । जो खीर चन्द्रमा की दिव्य किरणों से अमृत बन जायेगी । इस खीर का प्रसाद ग्रहण करने से यह औषधि के रुप में कार्य करेगी । मन्दिरों में रात्रि 12 के पश्चात महाआरती होंगी इसके पश्चात् रामदरबार व ठाकुर जी को खीर का भोग लगाने के बाद प्रसाद भक्तों को वितरित किया जाएगा।

Post a Comment